बस कुछ घंटे और…., PM मोदी वाराणसी को देंगे 1,780 करोड़ रुपए की परियोजनाओं की सौगात !!!

(Pi Bureau)

करीब चार माह बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के वाराणसी आगमन की उल्टी गिनती शुरू हो गई है। अब 20 घंटे से भी कम का वक्त बचा है। पीएम मोदी 24 मार्च को वाराणसी में चार घंटे 50 मिनट रहेंगे। वो सुबह 9:55 बजे वाराणसी एयरपोर्ट पहुंचेंगे और दोपहर 2:45 बजे दिल्ली रवाना होंगे। अपने संसदीय क्षेत्र में पीएम मोदी तीन सड़क मार्ग से गुजरेंगे। पीएम की अगवानी व स्वागत के लिए काशी के लोग सड़क किनारे मौजूद रहेंगे। इस दौरान जगह-जगह शंखनाद और पुष्पवर्षा से पीएम का स्वागत होगा।

चैत्र नवरात्र के तीसरे दिन 24 मार्च को अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी के दौरे पर आ रहे प्रधानमंत्री देश के पहले पब्लिक ट्रांसपोर्ट रोपवे की आधारशिला रखेंगे। इसके साथ ही जनता की सुविधाओं को बढ़ाने के लिए 1780 करोड़ रुपये लागत की 28 परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास करेंगे। साथ ही संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय के मैदान में जनसभा को भी संबोधित करेंगे।

पीएम मोदी सुबह करीब साढ़े आठ बजे दिल्ली से वाराणसी के लिए रवाना होंगे। वाराणसी एयरपोर्ट से वे हेलिकाॅप्टर से पुलिस लाइन पहुंचेंगे। फिर सड़क मार्ग से रुद्राक्ष कन्वेंशन सेंटर जाएंगे। दोपहर 12 बजे संस्कृत विश्वविद्यालय के मैदान में जनसभा को संबोधित करने के साथ विकास परियोजनाओं का शिलान्यास व लोकार्पण करेंगे। रुद्राक्ष कन्वेंशन सेंटर से संपूर्णानंद तक पीएम सड़क मार्ग से ही आएंगे।

रुद्राक्ष कन्वेंशन सेंटर में आयोजित वन वर्ल्ड टीबी समिट में पीएम मोदी टीबी मुक्त पंचायत अभियान का शुभारंभ करेंगे। साथ ही छोटे टीबी निवारक उपचार (टीपीटी) और टीबी मरीजों के परिवार की देखभाल का मॉडल भी लांच करेंगे। पीएम मोदी की मौजूदगी में आयोजित इस सम्मेलन में 30 से अधिक देशों के अंतरराष्ट्रीय प्रतिनिधियों के भाग लेने की उम्मीद है।

पीएम मोदी इस दौरे में काशीवासियों को 29 विकास परियोजनाओं की सौगात देंगे। नौ परियोजनाओं का शिलान्यास और 20 का लोकार्पण करेंगे। देश की पहली पब्लिक ट्रांसपोर्ट रोपवे परियोजना की आधारशिला भी रखेंगे। इसके साथ ही कैंट रेलवे स्टेशन से गोदौलिया के बीच रोपवे का काम शुरू हो जाएगा। यह परियोजना 644.49 करोड़ रुपये की है।

भारत का पहला पब्लिक ट्रांसपोर्ट रोपवे कैंट रेलवे स्टेशन (वाराणसी जंक्शन ) से गोदौलिया चौराहे तक चलेगा। इससे काशी विश्वनाथ मंदिर व दशाश्वमेध घाट जाना आसान हो जाएगा। जाम की समस्या नहीं रहेगी। इसका फायदा पर्यटन कारोबार को मिलेगा। देशी -विदेशी पर्यटकों की संख्या बढ़ेगी। कैंट रेलवे स्टेशन के पास ही रोडवेज बस स्टेशन है। इसलिए कैंट पर रोपवे स्टेशन बनने से ट्रेन और बस से यात्रा करने वाले दोनों यात्रियों को सहूलियत मिलेगी।

नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक प्राइवेट लिमिटेड के प्रोजेक्ट डायरेक्टर अनुराग त्रिपाठी के मुताबिक, वाराणसी कैंट स्टेशन से शुरू होकर गोदौलिया चौराहे तक कुल पांच स्टेशन होंगे। कैंट रेलवे स्टेशन, काशी विद्यापीठ, रथयात्रा, गिरजाघर और गोदौलिया चौराहे पर स्टेशन बनाया जाएगा। हर स्टेशन पर काशी की कला ,धर्म और संस्कृति की झलक देखने को मिलेगी।

रोपवे की ट्रॉली पर भी काशी की थाती देखने को मिल सकती है। एक दिशा में एक घंटे में 3000 लोग यात्रा कर सकते हैं। इसका मतलब है कि दोनों दिशा से एक घंटे में 6000 लोग आ-जा सकेंगे। रोपवे का संचालन 16 घंटे होगा। इसे दो अंदर बनाना है। भूमि अधिग्रहण, तार व पाइप शिफ्टिंग का काम तेजी से चल रहा है।
बोलिविया देश की राजधानी लापाज़ और मैक्सिको के बाद विश्व में भारत तीसरा देश और वाराणसी पहला शहर होगा, जहां पब्लिक ट्रांसपोर्ट के लिए रोप-वे का इस्तमाल किया जाएगा। यह पायलट प्रोजेक्ट है। इसका निर्माण स्विट्जरलैंड आधारित कंपनी बर्थोलेट, विश्व समुद्र और नेशनल हाईवे लॉजिस्टिक प्राइवेट लिमिटेड (एनएचएलएमएल) करेगी।

पहले चरण में वाराणसी कैंट से गोदौलिया के बीच रोपवे चलाया जाएगा। काशी के पुराने इलाकों की सड़कें कम चौड़ी हैं। यातायात का दबाव लगातार बढ़ रहा है। इससे जाम की स्थिति बन जाती है। देशी विदेशी पर्यटकों को भी परेशानी होती है। रोपवे बनने के बाद जाम की समस्या खत्म हो जाएगी।

About somali