मीडिया रिपोर्ट्स में बताया गया है कि 8 जुलाई को हेडली पर हमला किया गया था। हेडली पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी और इस्लामी आतंकवादी संगठनों के बीच ‘डबल एजेंट’ के तौर पर काम कर रहा था। हालांकि 26/11 के आतंकी हमलों की पैरवी करने वाले विशेष सरकारी वकील उज्जवल निकम ने कहा, ‘हमें अभी तक हेडली पर हमला किए जाने की ऐसी कोई सूचना नहीं मिली है।’ 2016 में जब हेडली ने सरकारी गवाह बनने की पेशकश की थी तब निकम ने ही विडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए उससे पूछताछ की थी।
खबरों के मुताबिक, हमले में हेडली को सीरियस चोटें आई हैं और उसे 24 घंटे की सघन निगरानी में नॉर्थ इवैंन्सटन हॉस्पिटल में रखा गया है। रिपोर्ट्स में यह भी बताया गया है कि हेडली पर हमला करने वाले दोनों लोग सगे भाई हैं और कई साल पहले पुलिसकर्मियों पर हमला किए जाने के लिए जेल में सजा भुगत रहे हैं।
बता दें कि डेविड कोलमैन हेडली का असली नाम दाऊद सैयद गिलानी है। उसका जन्म अमेरिका के वॉशिंगटन में हुआ था और उसके पिता सैयद सलीम गिलानी पूर्व पाकिस्तानी डिप्लोमैट थे। आतंकी घटनाओं के अलावा वह ड्रग ट्रैफिकिंग में भी शामिल रहा है और उसे अमेरिकी एजेंसियों ने पहले भी हिरासत में लिया था लेकिन बाद में वह अमेरिकी एजेंसियों के लिए ही काम करने लगा। बाद में पाकिस्तान में वह हाफिस सईद और जकीउर रहमान लखवी के संपर्क में आ गया जो मुंबई में 26/11 पर हमले के मुख्य साजिशकर्ता माने जाते हैं।