(Pi Bureau)
पाकिस्तान की इमरान खान सरकार को एक बड़ा झटका लगा है। अमेरिका के बाद ऑस्ट्रेलिया ने पाकिस्तान की आर्थिक मदद पर रोक लगा दी है। बता दें कि पाकिस्तान एशिया के सबसे गरीब देशों में से एक है। पाकिस्तान संयुक्त राष्ट्र मानव विकास सूचकांक में 178 देशों की लिस्ट में 150वें स्थान पर है। यह सूचकांक स्वास्थ्य, शिक्षा और आय के आधार पर तय किया जाता है। आॅस्ट्रेलिया के इस ऐलान के बाद पाकिस्तान की मुश्किलें बड़ी हो गई है। उब उसके समक्ष सवाल यह है कि अब पाकिस्तान अपनी आर्थिक तंगी से कैसे निपटेगा।
अमेरिका ने भी हाथ खींचा, 44 करोड़ डॉलर की नकदी सहायता रोकी
इस वर्ष अगस्त माह में पाकिस्तान का एक बड़ा झटका तब लगा था, जब अमेरिका ने 44 करोड़ डॉलर की नकद सहायता में कटोती की थी। इसके बाद अमेरिका राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने कहा पाकिस्तान से कहा था कि हम कई सालो से पाकिस्तान को 130 करोड़ डॉलर देते रहे, लेकिन समस्या यह है कि पाकिस्तान हमारे लिए कुछ नहीं कर रहा था। बता दें कि अमेरिका पाकिस्तान एनहेंस्ड पार्टनरशिप एग्रीमेंट (पीईपीए) 2010 के अंतर्गत यह मदद उसे प्रदान करता है। यह समझौता 2010 को हुआ था। इसके बाद पाकिस्तान की माली हालत और खराब हो गई। इसके बाद दोनों देशों के बीच तनावपूर्ण संबंध होते गए।
मोरिसन सरकार ने पाक के खिलाफ उठाया ये कदम
ऑस्ट्रेलिया की मोरिसन सरकार ने पाकिस्तान को दी जाने वाली आर्थिक मदद को रोकने का एेलान किया है। बता दें कि ऑस्ट्रेलिया पाकिस्तान की गरीब महिलाआें एवं लड़कियों की मदद के लिए वित्तीय मदद मुहैया कराता था। पाकिस्तान के वित्तीय मदद कार्यक्रम को लेकर आई परफॉर्मेंस रिपोर्ट में कहा गया है, ऑस्ट्रेलिया द्वारा पाकिस्तान को दी जाने वाली फंडिंग अब प्रशांत क्षेत्र में नए प्रोजेक्ट पर खर्च की जाएगी। 2018-19 में पाकिस्तान को दी जाने वाली 3.9 करोड़ डॉलर की आर्थिक मदद 2019-20 में 1.9 करोड़ डॉलर कर दी गई और 2020-21 में इसे पूरी तरह से खत्म कर दिया जाएगा।
सहयोग मुख्य मकसद महिलाओं एवं लड़कियों की सहायता
पाकिस्तान को ऑस्ट्रेलिया की सहायता का मुख्य मकसद महिलाओं और लड़कियों को सहायता प्रदान करना है। इसका लक्ष्य महिलाओं की शिक्षा पर ध्यान केंद्रित करने के अलावा गुणवत्ता, प्रजनन स्वास्थ्य और लिंग आधारित हिंसा विरोधी सेवाओं तक पहुंच बढ़ाना था। इसके साथ ही ऑस्ट्रेलिया की विदेशों को दी जाने वाली कुल आर्थिक मदद 2013 के बाद से 27 फीसद घट गई है। ऑस्ट्रेलिया वर्तमान में अपने कुल खर्च का 0.82 फीसद ही फंडिंग में देता है। इस कटौती के बावजूद ऑस्ट्रेलिया की मोरिसन सरकार ने प्रशांत क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने का संकल्प लिया है।
20 लाख से अधिक गरीबों की मदद की
द सिडनी मॉर्निंग हेराल्ड ने कहा, ‘पिछले वित्त वर्ष में पाकिस्तान को ऑस्ट्रेलिया की सहायता ने सूखे और आंतरिक विस्थापन से प्रभावित करीब 20 लाख से अधिक गरीब लोगों को भोजन और रुपयों की मदद प्रदान की है। बता दें कि पाकिस्तान एशिया के सबसे गरीब देशों में से एक है और संयुक्त राष्ट्र मानव विकास इंडेक्स में 178 देशों की लिस्ट में 150 वें स्थान पर है। यह इंडेक्स स्वास्थ्य, शिक्षा और आय के आधार पर तय किया जाता है।