(Pi Bureau)
चारधाम यात्रा का ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन 31 मई तक के लिए बंद कर दिया गया है. यात्रा व्यवस्थाओं के मद्देनजर फैसला लिया गया है. सीएम धामी ने इस संबंध में आवश्यक दिशा-निर्देश दिए हैं. चारधाम यात्रा में उमड़ रही श्रद्धालुओं की भारी भीड़ को देखते हुए उत्तराखंड सरकार ने तीर्थयात्रियों से पंजीकरण के दौरान दी गयी तारीख पर ही दर्शन करने, तथा मेडिकल हिस्ट्री नहीं छुपाने का भी अनुरोध किया ताकि यात्रा सुखद रहे.
दरअसल, बहुत से श्रद्धालु पंजीकरण के दौरान दी गई तारीख से पहले ही चारधाम यात्रा में पहुंच गए हैं, जिससे तीर्थयात्रियों की संख्या बेहताशा बढ़ गई. इसे रोकने के लिए बुधवार से ही स्थानीय स्तर पर आरटीओ एवं जिला प्रशासन की टीमों को सख्ती से चेकिंग करने को कहा गया है.
हरिद्वार में रजिस्ट्रेशन काउंटर बंद
चार धाम यात्रा में पहुंच रही बंपर भीड़ के चलते यात्रा के स्लॉट फुल हो गए हैं, जिसके बाद पर्यटन विभाग की ओर से हरिद्वार में रजिस्ट्रेशन काउंटर बंद कर दिए गए हैं. रजिस्ट्रेशन बंद होने से यहां रजिस्ट्रेशन काउंटरों पर सन्नाटा पसरा है, वहीं दूसरे राज्यों से पहुंच रहे श्रद्धालुओं को बड़ी परेशानी उठानी पड़ रही है. कुछ यात्री पिछले तीन दिनों से रजिस्ट्रेशन की आस में भटक रहे हैं तो कुछ होटल और धर्मशाला में रहकर इंतजार कर रहे हैं. वहीं कुछ श्रद्धालु बिना चार धाम यात्रा के ही वापस लौटने को मजबूर हैं. हरिद्वार के ऋषिकुल मैदान में चार धाम यात्रा के ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन के लिए 20 काउंटर लगाए गए हैं. फिलहाल पर्यटन विभाग की ओर से रजिस्ट्रेशन बंद किए गए हैं. पहले 15 और 16 मई के लिए रजिस्ट्रेशन बंद किए गए थे. फिर दूसरे आदेशों में 19 मई तक के लिए नए रजिस्ट्रेशन पर रोक लगा दी गई है.
उत्तराखंड में 10 मई से शुरू हुई चार धाम यात्रा में 20 दिनों में करीब 7 लाख श्रद्धालु उत्तरखंड पहुंचे हैं. चार धाम में मंदिर के 200 मीटर के रेडियस में कोई मोबाइल फोन का यूज नहीं कर पाएगा. व्यवस्थित चारधाम यात्रा के मद्देनजर कुछ और भी महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए हैं. केदारनाथ धाम में रील बनाने वालों और यूट्यूबर की भीड़ उमड़ने से भ्रामक खबरों के साथ ही कई तरह की अव्यवस्थाएं पैदा हो रही हैं. प्रशासन का कहना है कि इससे लोगों की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंच रही है. इसको देखते हुए अब मंदिर परिसर में मोबाइल का प्रयोग बैन कर दिया गया है.