(Pi Bureau)
भारतीय टीम का कनाडा के खिलाफ ग्रुप चरण में अंतिम मुकाबला मैदान गीला होने के कारण बिना टॉस हुए रद्द घोषित किया गया। इस तरह दोनों टीमों को एक-एक अंक मिला। भारत सात अंक से ग्रुप ए में शीर्ष पर रहा। अमेरिका (पांच अंक) ग्रुप से क्वालीफाई करने वाली दूसरी टीम रही। भारतीय टीम को भले ही सुपर आठ चरण से पहले अपनी बेंच स्ट्रेंग्थ को परखने का मौका ना मिला हो, लेकिन ग्रुप चरण के शानदार अभियान के बाद आत्मविश्वास से भरी टीम अगले चरण के लिए कैरेबियाई सरजमीं पर जाएगी।
भारतीय गेंदबाजों ने किया शानदार प्रदर्शन
ग्रुप चरण में जहां बल्लेबाज न्यूयॉर्क की ड्रॉप इन पिचों पर संघर्ष करते दिखे, वहीं भारतीय गेंदबाजों विशेष रूप से तेज गेंदबाजों ने दमदार प्रदर्शन किया। इनमें मुख्य तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह, अर्शदीप सिंह, हार्दिक पांड्या और मोहम्मद सिराज ने मिलकर 20 विकेट चटकाए। निश्चित रूप से इन्हें नासाउ काउंटी स्टेडियम की गेंदबाजों के लिए मददगार ड्रॉप इन पिच मिली और अब आगामी मैचों में उन्हें वेस्टइंडीज में खेलने के लिए पारंपरिक पिचें मिलेंगी। पिच से निश्चित रूप से मदद मिली लेकिन भारतीय तेज गेंदबाजों ने भी तकनीकी समझ और परिस्थितियों को समझकर उनका फायदा उठाया। अर्शदीप से बेहतर कोई नहीं दिखा।
पंत-सूर्यकुमार ने बल्लेबाजी में दिखाया दम
कप्तान रोहित शर्मा, ऋषभ पंत और सूर्यकुमार यादव द्वारा रन जुटाना सकारात्मक रहा जिसके अलग कारण रहे। रोहित और सूर्यकुमार दोनों ने आईपीएल 2024 में अच्छा प्रदर्शन नहीं किया था। जिससे वे अब सुपर आठ में और बेहतर करना चाहेंगे। वहीं, पंत ने दिल्ली कैपिटल्स की अगुआई करते हुए आईपीएल में अच्छा प्रदर्शन दिखाया था। पंत ने पूरे आत्मविश्वास के साथ यहां की परीक्षा में सफलता हासिल की। बाएं हाथ के इस बल्लेबाज ने कई शॉट खेले। विकेट के पीछे उनका प्रयास भी उतना ही अच्छा रहा। रोहित ने जहां आयरलैंड के खिलाफ अर्धशतक लगाया, जबकि अमेरिका के खिलाफ विपरीत परिस्थितियों में सूर्यकुमार ने नाबाद पचासा जड़कर टीम को जीत दिलाई थी। हालांकि, ओपनिंग के तौर पर उतरे विराट कोहली का बल्ला अब तक खामोश रहा और उन्होंने तीन मैचों में कुल पांच रन बनाए जिसमें अमेरिका के खिलाफ शून्य पर आउट होना भी शामिल है। हार्दिक भी आईपीएल में मुंबई इंडियंस की कप्तानी के दौरान शांत रहने के बाद विश्व कप में मजबूत नजर आए। हालांकि उनकी बल्लेबाजी अब भी शीर्ष गियर में नहीं पहुंची है, लेकिन गेंदबाज के तौर पर उन्होंने अपनी गति और वैरिएशन से बल्लेबाजों को परेशान किया।
अक्षर के अलावा अन्य स्पिनरों को नहीं मिला मौका
ग्रुप चरण के चार मैचों में कुछ हद तक अक्षर पटेल को छोड़कर किसी भी स्पिनर को ग्रुप चरण में गेम टाइम नहीं मिला। अक्षर ने तीन मैच में छह ओवर गेंदबाजी की और तीन विकेट लिए। वहीं, दूसरे स्पिनर रवींद्र जडेजा ने आयरलैंड और पाकिस्तान के खिलाफ ग्रुप चरण में सिर्फ तीन ओवर फेंके। बाएं हाथ के इस स्पिनर को अमेरिका के खिलाफ इस्तेमाल भी नहीं किया गया था। टीम के अन्य स्पिनर कुलदीप यादव और युजवेंद्र चहल बिना किसी गेम टाइम के सुपर आठ में प्रवेश करेंगे। अगर कनाडा के खिलाफ मैच हुआ होता तो वे कुछ अच्छा कर सकते थे। माना जा रहा था कि भारतीय टीम सुपर आठ चरण से पहले कनाडा के खिलाफ प्लेइंग-11 में कुछ बदलाव कर सकती है और अक्षर तथा जडेजा की जगह कुलदीप और चहल को इस मैच में मौका मिल सकता है। हालांकि मैच नहीं होने से इन खिलाड़ियों को मौका नहीं मिल सका। अमेरिका की तुलना में वेस्टइंडीज की पिचों से स्पिनरों को धीरे-धीरे मदद मिलने की उम्मीद है। ऐसे में भारतीय स्पिनरों पर टीम को सेमीफाइनल में ले जाने की जिम्मेदारी भी रहेगी।