(Pi Bureau)
हाथरस हादसे में एसआईटी ने शासन को रिपोर्ट भेजी। एडीजी ने रिपोर्ट भेजे जाने की पुष्टि की है, लेकिन रिपोर्ट में क्या है? इसको लेकर कहा कि शासन से ही जानकारी मिल सकेगी। बेहद गोपनीय तरीके से शासन को रिपोर्ट भेजी गई है। रिपोर्ट बनाने में जुटे कर्मचारियों तक के नंबर बंद कराकर रखे गए।
हाथरस में कथित भोले बाबा के सत्संग में उमड़ी भीड़ को संभालने के लिए स्थानीय प्रशासन ने पर्याप्त इंतजाम नहीं किए थे। इस मामले में अब तक सामने आए इनपुट के बाद योगी सरकार ने कड़ा रुख अपनाया है। कई अफसरों पर एक-दो दिन में गाज गिरना तय माना जा रहा है।
हाथरस के थाना सिकंदराराऊ के गांव मुगलगढ़ी में बीती दो जुलाई को सूरजपाल जाटव उर्फ साकार विश्व हरि भोले बाबा का सत्संग हुआ था। सत्संग समाप्त होते ही बाबा की चरण रज लेने के लिए भीड़ दौड़ी और भगदड़ मच गई। इसमें 120 से ज्यादा लोगों की मौत हो गई। इनमें ज्यादातर महिलाएं थीं।
शासन के उच्चपदस्थ सूत्र बताते हैं कि स्थानीय अधिकारियों ने भीड़ प्रबंधन के लिए जरूरी कदम नहीं उठाए। हालांकि, स्थानीय पुलिस का कहना है कि भोले बाबा के आश्रम में पुलिस कर्मियों को प्रवेश नहीं करने दिया जाता है। इसलिए भीड़ के प्रबंधन में दिक्कतें आती हैं।