दुनिया के महान वैज्ञानिक स्‍टीफन हॉकिंग का निधन..आइंसटीन के जन्मदिन पर दुनिया को कहा अलविदा..!!!

(Pi Bureau)

नई दिल्ली : दुनिया के महान भौतिकी और ब्रह्मांड विज्ञानी स्‍टीफन हॉकिंग ने बुद्धवार 14 मार्च को सुबह दुनिया को अलविदा कह दिया. महान वैज्ञानिक की 76 साल की उम्र में निधन होने की खबर आने पर दुनिया में शोक की लहर छा गई. स्‍टीफन हॉकिंग ने अपने जीवन में अंतरिक्ष के कई रहस्‍यों पर से पर्दा उठाया और दुनिया को अंतरिक्ष से संबंधी कई अहम सिद्धांत दिए. यह संयोग ही है कि महान वैज्ञानिक अल्‍बर्ट आइंसटीन की जन्‍म तिथि के दिन ही स्‍टीफन हॉकिंग का निधन हुआ. दूसरी ओर एक संयोग यह भी है कि जिस दिन महान वैज्ञानिक गैलीलियो की मौत हुई थी, 300 साल बाद उसी दिन स्‍टीफन हॉकिंग का जन्‍म हुआ था. स्‍टीफन हॉकिंग मौजूदा समय में यूनिवर्सिटी ऑफ कैम्ब्रिज के सेंटर फॉर थियोरेटिकल कॉस्‍मोलॉजी के रिसर्च विभाग के डायरेक्‍टर थे.

स्‍टीफन हॉकिंग का जन्‍म 8 जनवरी, 1942 को ब्रिटेन के ऑक्‍सफोर्ड में हुआ था. पहले उनका परिवार लंदन में रहता था. लेकिन बाद में सेंट एल्‍बेंस में रहने लगा. सात साल की उम्र में उन्‍होंने सेंट एल्‍बेंस स्‍कूल में पढ़ाई शुरू की. 1952 में वह ऑक्‍सफोर्ड के यूनिवर्सिटी कॉलेज गए. स्‍टीफन हॉकिंग गणित की पढ़ाई करना चाहते थे. लेकिन उनके पिता उन्‍हें मेडिसिन की पढ़ाई करवाना चाहते थे. ऑक्‍सफोर्ड के यूनिवर्सिटी कॉलेज में गणित न होने के कारण उन्‍होंने भौतिकी की पढ़ाई शुरू की.

अक्‍टूबर 1962 में उन्‍होंने यूनिवर्सिटी ऑफ कैम्ब्रिज में कॉस्‍मोलॉजी में रिसर्च शुरू की. उस वक्‍त ऐसा करने वाले वह पहले व्‍यक्ति थे. 1965 में उन्‍होंने पीएचडी पूरी की. 1965 में वह रिसर्च फेलो बने, 1969 में फेलो फॉर डिस्टिंक्‍शन इन साइंस बने.

स्‍टीफन ने दुनिया को कई अंतरिक्ष सिद्धांत दिए. उन्‍होंने हॉकिंग रेडिएशन, पेनरोज-हॉकिंग theorems, बीकेंस्‍टीन-हॉकिंग फॉर्मूला दिया. हॉकिंग एनर्जी, गिब्‍सन-हॉकिंग स्‍पेस और गिब्‍सन हॉकिंग इफेक्‍ट उनके अहम सिद्धांत थे.

1963 में स्‍टीफन हॉकिंग को उनके मोटर न्‍यूरॉन नामक बीमारी होने का पता चला. तब उनकी उम्र 21 साल थी. डॉक्‍टरों ने उनके सिर्फ दो साल तक  ही जीवित रहने का अनुमान जताया था. लेकिन उनके शरीर में यह बीमारी सामान्‍य रफ्तार से भी कम गति से फैल रही थी. वह अशक्‍त तो हुए लेकिन करीब आधी सदी से अधिक 55 साल जिए. स्‍टीफन हॉकिंग मौजूदा समय में यूनिवर्सिटी ऑफ कैम्ब्रिज के सेंटर फॉर थियोरेटिकल कॉस्‍मोलॉजी के रिसर्च विभाग के डायरेक्‍टर थे.

 

आपको बता दें कि स्‍टीफन हॉकिंग ने हाल ही में यह भी कहा था कि पृथ्वी का अस्तित्व खतरे में है.

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