बगदादी के ढेर होने के बाद इस्लामिक स्टेट ने अब्दुल्लाह कार्दश को चुना सरगना, सद्दाम के साथ किया था काम !!!

(Pi Bureau)
अमेरिकी सेना ने आतंकी संगठन आईएसआईएस के सरगना अबु अल-बकर बगदादी को मार दिया है। इसकी पुष्टि खुद राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने की। रिपोर्ट्स की मानें तो अब इस आतंकी संगठन की कमान सद्दाम हुसैन की सैना के पूर्व अधिकारी अब्दुल्ला कार्दश को सौंपी गई है। कार्दश इराक की जेल में बगदादी के साथ बंद था। इसके बाद वह आईएस का मुख्य नीति-निर्माता बन गया। 

कार्दश को प्रोफेसर के तौर पर जाना जाता है। वह एक क्रूर लेकिन आईएस का मशहूर चेहरा है। आईएस की समाचार एजेंसी अमाक के एक बयान के अनुसार बगद्दी ने इस साल अगस्त में कार्दश को रोजमर्रा के कामकाज को नियंत्रित करने का जिम्मा दिया था। जिसकी वजह से बगदादी की मौत के बाद उसे संगठन की जिम्मेदारी मिली है।

माना जाता है कि कार्दश ने बगदादी की मौत से पहले ही कई सारी जिम्मेदारियों को निभाना शुरू कर दिया था। उसे बगदादी के हवाई हमले में घायल होने के बाद अगस्त में उत्तराधिकारी नियुक्त किया गया था। इस दौरान बगदादी डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर से पीड़ित था। बीमारी की वजह से वह कामकाज में हिस्सा नहीं ले रहा था। वह केवल किसी योजना को लेकर हां या न बोला करता था।

कौन था बगदादी

बगदादी का जन्म 1971 में इराक के सामरा में गरीब सुन्नी परिवार में हुआ था। उसका असली नाम इब्राहिम अल-ऊद अल-बदरी था, लेकिन दुनिया में उसने अबू बकर अल बगदादी के नाम से खौफ कायम किया था। बगदादी का परिवार पैगंबर मोहम्मद का वंशज होने का दावा करता है। उनका कहना है कि वे पैगंबर मोहम्मद के कबीले से ताल्लुक रखते हैं।

स्टार फुटबॉलर था बगदादी

बगदादी ने 1996 में यूनिवर्सिटी ऑफ बगदाद से इस्लामिक स्टडीज में स्नातक की डिग्री पाई। इसके बाद 1999 से 2007 से के बीच कुरान पर इराक की सद्दाम यूनिवर्सिटी फॉर इस्लामिक स्टडीज से मास्टर और पीएचडी की डिग्री हासिल की। बगदादी को फुटबाल खेलने का बहुत शौक था। वह बगदाद के एक स्थानीय क्लब का स्टार फुटबॉलर भी था। वह 2004 तक बगदाद में अपने परिवार के साथ रहा।

2003 में बनाया था आतंकी संगठन

जब 2003 में अमेरिका ने सद्दाम को सत्ता से हटाने के लिए इराक पर हमला किया तब बगदादी ने जैश अह्ल अल-सुन्नाह वा अल-जमाह नाम के आतंकी गुट के गठन में सक्रिय भूमिका निभाई।

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