(Pi Bureau)
लद्दाख में भारत-चीन सीमा गतिरोध पर अमेरिका ने फिलहाल नजर रखी हुई है, वह नहीं चाहता कि सीमा पर दोनों देशों के बीच तनाव और आगे बढ़े। ट्रंप प्रशासन के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा है कि अमेरिका भारत और चीन के बीच सीमा रेखा की कड़ी निगरानी कर रहा है और इस स्थिति को और आगे नहीं बढ़ाना चाहता है। इसके साथ ही चीन के बढ़ते आक्रामक व्यवहार को देखते हुए अमेरिका ने दक्षिण पूर्व एशिया में भारत की भागीदारी का स्वागत किया है। ट्रम्प प्रशासन के वरिष्ठ अधिकारियों ने शनिवार को कहा कि अमेरिका लद्दाख में भारत-चीन गतिरोध को करीब से देख रहा है। इसके साथ ही वह दिल्ली के साथ जानकारी भी साझा कर रहा है।
लद्दाख सीमा पर शांति चाहता है अमेरिका
ट्रंप प्रशासन के अधिकारी ने नई दिल्ली में अगले सप्ताह 2+2 भारत-अमेरिकी मंत्रिस्तरीय सम्मेलन से पहले संवाददाताओं को बताया कि ट्रंप प्रशासन रक्षा बिक्री, संयुक्त सैन्य अभ्यास और सूचना साझा करने के माध्यम से भारत को सहायता प्रदान कर रहा है।
अधिकारी ने कहा कि हम एक सरकार के रूप में हिमालय की स्थिति को बारीकी से और समझदारी से देख रहे हैं। हम निश्चित रूप से यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि तनाव की स्थिति आगे न बढ़े। अधिकारी ने कहा कि ये सभी ऐसे क्षेत्र हैं जहां हम भारत के साथ सहयोग करते हैं न कि यह हिमालय में तनाव से संबंधित है।
गौरतलब है कि भारत और चीन की सेनाओं के बीच मई के शुरुआती दिनों में पूर्वी लद्दाख में एक सीमा गतिरोध हुआ, जिसने द्विपक्षीय संबंधों को काफी तनावपूर्ण बना दिया है। दोनों पक्षों ने इसेहल करने के लिए कूटनीतिक और सैन्य वार्ता की एक श्रृंखला आयोजित की है। हालांकि, गतिरोध को समाप्त करने में अब तक कोई सफलता नहीं मिली है। चीन ने अगस्त के अंतिम सप्ताह में पैंगोंग झील के दक्षिणी किनारे पर भारतीय क्षेत्र पर कब्ज़ा करने का असफल प्रयास किया। चीन के इन मंसूबों को भारतीय सेना ने नाकाम कर दिया