इलाहाबाद के किस्से और कहानियों से चेहरे पर आई मुस्कान

अमिताभ बच्चन के जन्मदिन पर दिखाए गए वीडियो में उनके जन्म स्थान इलाहाबाद से जुड़ी यादें थीं, उनकी बचपन की तस्वीरों का कोलाज था. साथ ही उनके जीवन से जुड़े प्रसंगों को याद करने वालों के फुटेज शामिल थे. वीडियो में इलाहाबाद में उनके जन्म के बाद परिवार के माहौल, घर के आसपास के लोगों की बातें, अमिताभ को जानने वालों के अनुभव शामिल किए गए थे. यही नहीं, बॉलीवुड के सफल अभिनेता बनने के बाद इलाहाबाद में राजनीतिक जीवन की शुरुआत का भी जिक्र किया गया. इलाहाबाद में बचपन के दिनों में अमिताभ जिस दुकान से कॉपी या कलम खरीदा करते थे, उस दुकान के मालिक ने भी बॉलीवुड के महानायक से जुड़े किस्से सुनाए. वहीं, सांसद बनने के बाद की उनकी उपलब्धियों के बारे में भी एक स्थानीय व्यक्ति ने जानकारी दी. फिल्म ‘कुली’ की शूटिंग के दौरान हुए फाइट-सीन में गंभीर रूप से घायल होने के बाद अमिताभ का इलाज करने वाले डॉक्टर ने भी उनसे जुड़े अनुभव शेयर किए.

मां की आवाज में पहली बार सुनी कविता

वीडियो में पूरे समय चल रही तस्वीरों और फुटेज के साथ-साथ अमिताभ बच्चन के चेहरे के अंदाज लगातार बदल रहे थे. उनके चेहरे पर हल्की मुस्कान, इस सरप्राइज-गिफ्ट से मिली खुशी साफ-साफ बयां कर रही थी. लेकिन वीडियो के अंत में जब अचानक स्क्रीन पर एक आवाज गूंजी तो अमिताभ चौंक उठे. यह आवाज दरअसल उनकी मां तेजी बच्चन की थी, जो ऑडियो में पिता हरिवंशराय बच्चन की एक कविता को गीत के रूप में पेश कर रही थीं. मां की आवाज में गीत सुनकर एकबारगी अमिताभ बच्चन को यकीन ही नहीं हुआ, लेकिन चंद पलों बाद ही वे काफी गंभीर होकर गीत सुनने लगे. ऑडियो के समाप्त होने के बाद अमिताभ ने राजदीप सरदेसाई को धन्यवाद दिया और सामने बैठी प्रतिभागी और दर्शकों से कहा कि आज से पहले उन्होंने कभी भी अपनी मां को गाते हुए नहीं सुना था.